राजपुर। विश्व साक्षरता दिवस पर बालक उच्चतर माध्यमिक विद्यालय महुआ पारा राजपुर में छात्रों को संबोधित करते हुए व्यवहार न्यायाधीश आकांक्षा बेक ने कहा कि शिक्षा से जीवन संवर जाता है। शिक्षित व्यक्ति समाज में सब कुछ हासिल कर सकता है इसके ठीक विपरीत अशिक्षा मनुष्य के अंदर कई विकार ला देता है, अशिक्षित व्यक्ति नकारात्मकता को भी साथ लेकर चलता है और वह समाज में पीछे रह जाता है। उन्होंने आगे बताया कि यूनेस्को ने समाज में शिक्षा के प्रसार के उद्देश्य से अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस मनाने की शुरुआत की, साक्षरता का उद्देश्य पढ़ने और लिखने में लोगों को सक्षम बनाना है दुनिया भर के सभी देश अपने नागरिकों के बीच शिक्षा के प्रसार के लिए साक्षरता दिवस मनाते हैं।
इस अवसर पर उपस्थित तहसील अधिवक्ता संघ के सचिव सुनील सिंह ने कहा कि वर्ष 1966 से अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस मनाया जा रहा है दुनिया भर के देशों में साक्षरता के लिए कई तरह के कार्यक्रम चलाए जाते रहे हैं ताकि लोगों को साक्षर किया जा सके हमारे यहां साक्षरता की रफ्तार जिस गति से चल रही है उसमें यह अनुमान है कि सन 2060 तक भारत साक्षर हो सकेगा परंतु हम सबों को इस लक्ष्य को समय से पूर्व हासिल करना है क्योंकि शिक्षा से ही विकास संभव है। जहां एक और छत्तीसगढ़ सरकार आत्मानंद विद्यालय अंग्रेजी माध्यम स्कूल खोल रही है केंद्र सरकार बेहतर शिक्षा के लिए पीएम श्री स्कूल खोलने जा रही है जो हर ब्लॉक में कम से कम खोले ही जाएंगे। देश में एक तबका डिजिटल साक्षरता की ओर आगे बढ़ रहा है वहीं दूसरी ओर साक्षर होने के लिए लोग अभी कतारबद्ध है,साक्षरता विकास के लिए नए रास्ते खोलती है साक्षरता जब पूर्णरूपेण होगी तब आप पाएंगे कि समाज के कई विकार जैसे कि भ्रष्टाचार जैसे सामाजिक बुराइयों पर भी प्रभावी रोक लगेगा इसके अलावा शिक्षा के साथ लोग अपने अधिकारों से सीधे जुड़ जाते हैं हमारे देश का कानून और संविधान दोनों ही साक्षरता के लिए सारे रास्ते खोल रखे हैं संविधान के विभिन्न अनुच्छेदों के अलावा शिक्षा का अधिकार जैसे कानून 6 से 14 वर्ष तक के बच्चों के लिए अनिवार्य शिक्षा जैसी व्यवस्था भी की गई है जिसका लाभ सभी को लेने के लिए प्रेरित किया जाना चाहिए। पढ़ने लिखने के साथ-साथ हमें प्रयास करना चाहिए कि हमारी पढ़ाई लिखाई की व्यवस्था इतनी सुदृढ़ हो कि हर नागरिक लिखी गई बातों के अंदर छुपे हुए भावों को बेहतर ढंग से समझ सके और एक बेहतर नागरिक बनकर संविधान के दी व्यवस्थाओं का न केवल पालन कर सकें और अपने अधिकारों का भी प्रयोग कर सके उसका संरक्षण कर सके।
अधिवक्ता जितेंद्र गुप्ता ने कहा कि हमारे देश में सकारात्मक अवसर उपलब्ध कराए गए हैं और उन सभी अवसरों को हम सभी को बढ़-चढ़कर के विशेषकर आम लोगों को दिए जा रहे अधिकारों तक उनकी पहुंच हो सके इसलिए बेहतर और सर उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी हम सब की है साक्षरता दिवस के माध्यम से ऐसे लोगों तक साक्षरता की रोशनी पहुंचाने की कोशिश सबको मिलजुल कर करनी होगी।
इस अवसर पर विद्यालय के प्राचार्य,शिक्षक व शिक्षिकाएं उपस्थित रहे।