गरीब परिवार के बैंक खाते से बगैर जानकारी के पैसा आहरण के मामले में पुलिस ने किया पटाक्षेप।
जिले में एक परिवार के बैंक खाते से बिना जानकारी के राशी आहरण का मामला बीते दिनों सामने आया था।जिसको लेकर पीड़ित परिवार ने बैंक प्रबंधक की साठगांठ का आरोप लगाते हुए कोतवाली थाने में शिकायत दर्ज कराई थी।मामले में पुलिश ने गंभीरता दिखाते हुवे तत्काल टीम गठित कर छानबीन में जुट गई थी।
वहीं पीड़िता ने भी कुछ लोगों पर गंभीर आरोप लगाए थे मामले में पुलिस ने खुलासा करते हुए बताया कि पीड़ित ने खुद ही बैंक की शाखा में जाकर लगभग 20 बार में पैसे का अहरण किया है और उसके द्वारा लगाए गए आरोप निराधार हैं।पूरे मामले में जिले के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सुशील नायक ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि पीड़ित द्वारा कोतवाली पुलिस को लिखित में शिकायत दी कि उसके खाते से किसी व्यक्ति के द्वारा बगैर उसके सहमति से लगभग ₹3 तीन लाख की राशि का अहरण कर लिया है।वही पीड़ित ने ग्राम के रोजगार सहायक पर भी आरोप लगाते हुए कहा था कि मेरी पत्नी दो बार रोजगार सहायक के साथ बैक गई थी।लेकिन जब पुलिस ने पूरे मामले में बारीकी से जांच प्रारंभ किया तो पाया कि उसने खुद ही पैसे का अहरण अलग-अलग बार मे किया है।
वही पुलिस ने सेंट्रल बैंक प्रबंधन से जब जानकारी मांगा तो बैंक द्वारा जानकारी दी गई कि प्रार्थी के द्वारा 2017 के बाद अब तक लगभग 20 बार में अलग-अलग राशि का आहरण किया गया है।दर्शल जिले के अधौरा गांव के निवासी बृजमोहन ने लिखित शिकायत दी थी,और करीब पांच वर्ष पहले उसने अपनी जमीन बेचकर तीन लाख रुपये बैंक में जमा कर दिया था।इस बीच मे उसके द्वारा अपने खाते से कुछ पैसों का निकासी भी किया गया था।लेकिन उसके बाद से उसने बैंक से कोई भी पैसों का आहरण नही किया था।जब अपने बेटे की शादी के लिए बैंक में पैसे निकालने गया तो उसे पता चला कि की उसके बैंक खाते में मात्र 108 रु ही शेष बचे है।पूरे मामले में पुलिस ने अब पटाक्षेप करते हुए कहा कि प्रार्थी के द्वारा खुद ही पैसे का हरण दो-तीन वर्षों के बीच किया गया है।प्रार्थी की शिकायत निराधार पाई गई है।